‘‘बौद्ध साहित्य में महिलाओं की स्थिति‘‘

  • निशा सरोज सरोज-शाध्े ा छात्रा एवं डॉ0 ऋचा पाठक (असिस्टेंट प्रोफेसर, प्राचीन इतिहास विभाग) (का० सु० साकेत स्नातकोत्तर महाविद्यालय, अयोध्या
Keywords: भिक्षुणी, ब्रह्मचारिणी, अध्यात्मिक, उत्तरवैदिक, अधिकारहीनता, धर्मकीर्ति।

Abstract

स्त्रियां े की दशा में युग के अनुरूप परिवर्तन हाते ा रहा है। बौद्ध ग्रन्थां े के माध्मय से हमें
महिलाआें की राजनीतिक, सामाजिक और आर्थिक स्थिति के बारे में जानकारी प्राप्त होती है।1 धर्मकीर्ति
के अनुसार गीता में स्त्री वर्ग को पापयोनि कहा गया। ऐसी स्थिति में बौद्ध धर्म का उदय स्त्रियों की
स्वतंत्रता का महत्वपण्ू ार् कारक बना।

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Published
2024-02-06
How to Cite
सरोजन. (2024). ‘‘बौद्ध साहित्य में महिलाओं की स्थिति‘‘. Humanities and Development, 18(02), 64-69. https://doi.org/10.61410/had.v18i2.146